Justice For Zubeen Protest:
जुबीन गर्ग मौत मामले में पांच आरोपियों को ले जा रहे वाहनों पर गुस्साई भीड़ ने हमला कर दिया, जिस वजह से बुधवार को बाक्सा जिला जेल में तनाव की स्थिति बन गई. यह स्थिति जल्द ही अफरा-तफरी में बदल गई, जिस वजह से पुलिसकर्मी, स्थानीय पत्रकार और कई निवासी घायल हो गए.
रिपोर्टों के मुताबिक पूर्वोत्तर महोत्सव के आयोजक श्यामकानु महंत, ज़ुबीन के प्रबंधक सिद्धार्थ शर्मा, एपीएस अधिकारी संदीपन गर्ग और महंत के दो निजी सुरक्षा अधिकारियों को जेल ले जा रहे पुलिस काफिले पर पथराव किया गया. गुवाहाटी के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) कोर्ट द्वारा आरोपियों को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजे जाने के बाद उन्हें बक्सा ले जाया जा रहा था.
जुबीन गर्ग के लिए न्याय की मांग करते हो गया विरोध प्रदर्शन हिंसक-
बताया जा रहा है कि जैसे ही काफिला जेल परिसर के पास पहुंचा, गेट पर एक बड़ी भीड़ जमा हो गई और जुबीन गर्ग के लिए न्याय की मांग करते हुए नारे लगाने लगी. विरोध प्रदर्शन तब हिंसक हो गया जब कुछ लोगों ने वाहनों पर पथराव शुरू कर दिया, जिससे उनके शीशे टूट गए और कई लोग घायल हो गए.
अफरा-तफरी के बीच, अज्ञात बदमाशों ने एक पुलिस वैन में आग लगा दी, जिससे इलाके में दहशत फैल गई. अधिकारियों ने यह भी पुष्टि की कि जेल परिसर के अंदर पत्थर फेंके गए, जिससे संपत्ति को नुकसान पहुंचा और सुरक्षाकर्मियों को भीड़ को तितर-बितर करने के लिए हवा में चेतावनी स्वरूप गोलियां चलानी पड़ीं.
19 सितंबर को हुई थी संदिग्ध परिस्थियों में मौत-
गौरतलब है कि गायक जुबीन गर्ग की 19 सितंबर को रहस्यमय परिस्थितियों में सिंगापुर में तैरते समय मौत हो गई थी. वह चौथे उत्तरपूर्व भारत समारोह के चौथे संस्करण में हिस्सा लेने के लिए गए थे. असम एसोसिएशन सिंगापुर के कुछ पदाधिकारियों ने एक यॉट बुक की थी और जब गर्ग कथित तौर पर डूबे, तब वे वहां मौजूद थे.
दो महीने पहले ही हुआ था जेल का उद्घाटन-
कोर्ट ने आरोपियों की सुरक्षा को लेकर चिंता जताते हुए आदेश दिया है कि कि उन्हें ऐसी जेल में भेजा जाए जहां कैदियों की संख्या कम हो. इसके बाद जेल अधिकारियों ने सभी पांचों आरोपियों को मुशालपुर स्थित बक्सा जेल में स्थानांतरित करने का फैसला किया. इस जेल का उद्घाटन दो महीने पहले हुआ था और जहाँ अभी भी कोई कैदी नहीं है.



