Darjeeling Flood:
उत्तर भारत में तबाही मचाने के बाद, उत्तर बंगाल और सिक्किम में लगातार हो रही भारी बारिश ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है. दार्जिलिंग और कालिम्पोंग जिलों में भूस्खलन और बाढ़ से अब तक 13 लोगों की मौत हो चुकी है. मिरिक और सुखिया क्षेत्रों में भूस्खलन के कारण कई लोग हताहत हुए हैं.
इस हादसे के बाद दार्जिलिंग जिला पुलिस राहत और बचाव कार्य में जुटी हुई है. वहीं कालिम्पोंग में स्थिति अब भी गंभीर बनी हुई है. लगातार बारिश से कई इलाकों का संपर्क टूट गया है और सड़क यातायात बुरी तरह प्रभावित हुआ है.
मृतकों की संख्या बढने की आशंका-
भारी बारिश के कारण बालासन नदी पर दूधिया स्थित लोहे का पुल बह गया, जिससे सिलीगुड़ी और मिरिक का संपर्क टूट गया. पुल के ध्वस्त होने से वाहन आवागमन पूरी तरह बंद हो गया है. नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है, जिससे स्थानीय लोग दहशत में हैं. गारिधुरा पुलिस चौकी की टीम मौके पर हालात पर नजर बनाए हुए है.
मृतकों में सबसे ज्यादा 5 मिरिक से हैं, जबकि 4 लोग जोरबंगला, शुखियापोखरी से 2, दार्जीलिंग सदर और पुल बाजार से 1-1 व्यक्ति शामिल हैं. प्रशासन ने आशंका जताई है कि मृतकों की संख्या और बढ़ सकती है.
पुल धवस्त सड़कें बंद-
नेशनल हाईवे 717E पर पेडोंग और रिशिखोला के बीच भूस्खलन से सिलीगुड़ी और सिक्किम को जोड़ने वाला वैकल्पिक मार्ग बंद हो गया है. इसके अलावा हुसैन खोला और एनएच-110 (कर्सियांग के पास) में भी भूस्खलन की खबर है.
लगातार बारिश के कारण सड़क से मलबा हटाने का काम बेहद मुश्किल हो रहा है. कालिम्पोंग जिले में लगातार बारिश के चलते कई सड़कें बंद हो गई हैं और संचार सेवाएं बाधित हैं. लगातार भूस्खलन की वजह से प्रशासन अलर्ट पर है. वहीं जलपाईगुड़ी के कई निचले इलाकों में पानी भर गया है. घर डूब गए हैं और लोग घुटने-भर पानी में फंसे हुए हैं.
आईएमडी का अलर्ट
भारत मौसम विभाग (IMD) ने दार्जिलिंग, जलपाईगुड़ी, कालिम्पोंग और कूचबिहार में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है. अलीपुरद्वार में रेड अलर्ट और उत्तर-दक्षिण दिनाजपुर व मालदा में येलो वार्निंग दी गई है. लोगों को पेड़ और बिजली के खंभों के नीचे शरण न लेने और जलाशयों से दूर रहने की सलाह दी गई है.



